An Untold story of Sachin Tendulkar (Part -1)

मुझसे आज भी एक छोटी सी कहानी याद आती है ,आप को बताता हूँ।


16 साल का एक छोटा सा लड़का पाकिस्तान के खिलाफ बल्लेबाजी करने उतरा, नाम था सचिन तेंदुलकर। 
उस समय 150 के स्पीड से गेंदबाजी होती थी। 15 साल कर लड़का टेस्ट मैच खेल रहा है और ऑपोसिट में नवजोत सिंह सिद्दू गेंदबाजी कर रहे है। 
चार लोग आउट हो चुके है ,पांचवा दिन है और तो और टूटी हुई पिच है। 
और तेंदुलकर पहले २ मैच में टोटल 10 रन बनाये थे।
तीसरी में ड्राप किया और ये चौथी मैच थी। 
 बॉलिंग कौन कर रहा है - इमरान खान ,वकार युनस ,आक़िब जावेद। 
खतरनाक लोग 5-5, 6-6  फुट के लोग दो दो फुट का हाथ ही था। 
तो सिध्दू कह रहा है मेरे को नॉन स्ट्राइकर पर लग रहा था ये लड़का तो मर जायेगा आज । 
पाकिस्तान के अंदर मैच, पाकिस्तान के लोग बॉलिंग भी कर है, गाली भी देते है। 
कोई आउट हुआ, ये स्ट्राइक पर गया सिध्दू ने इसे All the  best बोला। 
और बताते है पहली ही गेंद जूउउ कर के निकल गई ,  इसको कुछ नहीं दिखा। 
सिद्दू बोला आज ये मरेगा। 
तीसरी बॉल बाउंस आयी इसने पुल करने की कोशिश की फटाक से इसकी नाक पर लगा खून का फौवारा निकलने लगा, गिर गया फटाक से जमीन पर। 
सब लोग भागे भागे आये ,किसी ने स्ट्रेचर बुलाया। जब तक स्ट्रेचर आता फिज़ियोथेरेपिस्ट आ गए। 
तब फिज़ियोथेरेपिस्ट के पास केवल दो ही चीज़ होती थी एक saridon  और ice box , saridon मुँह में डाल देते थे और आइस लगा देते थे और चल। 
इस पंद्रह साल के लड़का का पूरा कपड़ा लाल, जूता भी लाल होगया खून से। 
जैसे ही इसको स्ट्रेचर पर लेटाने लगे सिध्दू कहता है मेरे कान में आवाज आयी - मै खेलेगा। 
सिध्दू ने कहा पक्का। 
इसने कहा - सर मै खेलेगा। 
अगली बॉल इमरान करता है और इसने ये स्ट्रीट घुमाया और फटाक ....... चार। 
मै खेलेगा। 
कोई और सचिन जैसा इस लिए नहीं बन सकता क्यों कि ये जो इस चमक के पीछे ऐसी की तैसी किया है, वो कोई और नहीं कर सका। 

जिंदगी में अपने ऊपर विश्वाश होना बहुत ही जरूरी है। 

Comments